(हो दीनानाथ, आहो दीनानाथ -2)
केहन समैया एलै, गहूंम महग भेलै
केहन समैया एलै, गहूंम महग भेलै
हो दीनानाथ कोन बिधि अर्घ दिया'यब हे कि
हो दीनानाथ कोन बिधि अर्घ दिया'यब हे कि
घीबो महग भेलै, फल फूलक महगी भेलै
घीबो महग भेलै, फल फूलक महगी भेलै
हो दीनानाथ धूप दीप नेबेद चढायब रे कि,
हो दीनानाथ धूप दीप नेबेद चढायब रे कि...
(हो दीनानाथ, आहो दीनानाथ -2)
बौआ कमौआ हमरो परदेस बसी गेलै
बौआ कमौआ हमरो परदेस बसी गेलै
हो दिनानाथ, बिनु रे पुतौहुआ बिधि ओरिया'यत रे कि,
हो दिनानाथ, बिनु रे पुतौहुआ बिधि ओरिया'यत रे कि...
तीन पन बीती गेलै, तन मन थाकि गेलै,
तीन पन बीती गेलै, तन मन थाकि गेलै,
हो दिनानाथ, अहाँ छोर दोसर दुख के बुझत रे कि,
हो दिनानाथ, अहाँ छोर दोसर दुख के बुझत रे कि...
(हो दीनानाथ, आहो दीनानाथ -2)
गलती के छेमब मोरा, मनसा पुरायेब,
गलती के छेमब मोरा, मनसा पुरायेब,
हो दीनानाथ, बेटा पुतौहुआ सुख कोना पायब रे कि
हो दीनानाथ, बेटा पुतौहुआ सुख कोना पायब रे कि
केहन समैया एलै, गहूंम महग भेलै
केहन समैया एलै, गहूंम महग भेलै
हो दीनानाथ कोन बिधि अर्घ दिया'यब रे कि
हो दीनानाथ कोन बिधि अर्घ दिया'यब रे कि
एल्बम : अरग
स्वर : शारदा सिन्हा
लिरिक्स :
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
अपन रचनात्मक सुझाव निक या बेजाय जरुर लिखू !