मंगलवार, 23 दिसंबर 2025

श्रीगणेशाय नमः जय गजवदन गणेशजी - स्नेहलता

जय गजवदन गणेशजी जय जय जय सुखसार 
विघ्नहरण मंगलकरण सकल सिद्धि दातार 
जय जय वरदे शारदे विमल बुद्धि आगार 
सानुकूल रहु दासपर दियऽ विवेक विचार

बन्द गणपति पद विघ्न विनाशी
सब सुखराशि सब सिद्धि के दातार हे। 

मंगलकरन जगवदन सगुन निधि
शिवक दुलारू लाल गौरीक कुमार हे। 

उदर प्रलम्ब मुख मोदक मधुर प्रेमी 
नेमी राम नाम के अनन्य गुणागार हे। 

जयति गणेश तोसे मांगे सखि स्नेह दया
धन्य धन्य धन्य प्रभु मूशक सवार हे।

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