Yagyopavit Mantra Janeu Mantra
वाजसनेयि यज्ञोपवीत मंत्र :-
ॐ यज्ञोपवीतं परमं पवित्रं प्रजापतेर्यत्सहजं पुरस्तात्।
आयुष्यमग्रयं प्रतिमुञ्च शुभ्रं यज्ञोपवीतं बलमस्तु तेजः।।
छन्दोग जनेऊ मंत्र : Chandog Janeu Mantra
ॐ यज्ञोपवीतमसि यज्ञस्य त्वोपवीतेनोपनह्यामि।
जीर्ण यज्ञोपवीत त्याग मंत्र :-
ॐ एतावद्दिनपर्यन्तं ब्रह्म त्वं धारितं मया। जीर्णत्वात्तवत्परित्यागो गच्छ सूत्र यथासुखम ।।
जानकारी : संसार मे दु प्रकारके मैथिल (ब्राह्मण) होइत अछि। एकटा छन्दोग आ दोसर, वाजसनेयी। अतः अहि नाम सं दु टा जनेऊ मंत्र सेहो अछि। हमर जानकारी मे छांदोग्य मंत्र बला जनेउ मे 3 परवल आ वाजस्नेयी मे 5 परवल होइत अछि। केतौ केतौ परवल भिन्न भ सकैत अछि।
ई विशिष्ट एक सूत्रके तीनबेर लपेटीकए तीन तानी बना "वाजसनेयी ब्राह्मण" पाँचटा गाँठ तथा "छन्दोग ब्राह्मण" के द्वारा तीन गाँठ देल जाइत अछि जकरा प्रवर (परवल) कहल जाईछ।
मिथिला में वाजसनेयी ब्राह्मण आ छन्दोग ब्राह्मणक अपन अपन विशेष गौरव गाथा छन्हि। शास्त्रानुसार वेदक जे ॠचाक निर्माण पाँच व्यक्ति मिला कए कएलन्हि, ओ सब वाजसनेयी ब्राह्मण भेलाह आ जे ॠचाक निर्माण तीन व्यक्ति मिल कए कएलन्हि, ओ लोकनि छन्दोग ब्राह्मण छथि।
एक बार फिर देखिए ध्यान से..आपने लिखा है छंदोग के 3 परवल और वाचसनयी के 5 परवल,जबकि इसका उल्टा है।वाचसनयी के 3 और छंदोग के 5 परवल होते है
जवाब देंहटाएंसही केह रहे हैं आप,
हटाएंनहीं आप उल्टा बोल रहे हैं छंदोग के 3 परवल और वाचसनेयी 5 परवल होता है l
हटाएंसही
हटाएंRight hai
जवाब देंहटाएंयही सही है
हटाएंपरवल निर्धारित होता हैं गोत्र पे जिनका जो गौत्र होता हैं उसी पे परवल होता हैं
जवाब देंहटाएंहम छन्दोग छि लेकिन अढ़ाई परवल पहिरैछि
जवाब देंहटाएंअहां बुरिराज छी।
हटाएंहम छान्दोग्य छी मुदा पांच परवल पहिरैत छी। अधाई परवल ता पहिल बर जानकारी भेल।
जवाब देंहटाएंPravar तो 3hi होते हैं गांठ adhaee होते हैं
हटाएंइसी तरह pravar तो 5hote हैं और गाँठ साढ़े 4hote हैं
Ham t chhandog chhi muda hamra 3 parbal hoyt achhi
जवाब देंहटाएंJaankari k lel bahut bahut dhanyebaad
जवाब देंहटाएंSandilya aur kayshap ka janao mantra
हटाएंबहुत नीक जानकारी देने छी अहा अपन साइट पर बहुत धन्यवाद अहाँ क
जवाब देंहटाएंG नहीं वास्तविकता यह है कि किसी व्यक्ती के mool से ही उसका जनेऊ का prawar 5ya 3 होता है
जवाब देंहटाएंमुझे छंद और वाचसनेयी के बारे में पता न था पर यज्ञो पवित मंत्र मुझे याद थी तो मुझे पता चला कि मैं छंद ब्राह्मण हूं अच्छा तो ये छंद और वाचसनेयी में अंतर किन चिजो का है उसके बारे में भी एक संक्षिप्त टिप्पणी मिल जाती अगले आर्टिकल में तो अच्छा होता ।। #JhaG
जवाब देंहटाएंDear Sir/Mam
जवाब देंहटाएंThis is to request you to please share the details of all the activities done in a Jeneu sanskaar of a maithil brahmin along with its importance/relevance. Also if you could share images than it would be of great help. I want to educate my son on all this.
Pease share on: ramanjha.darjeeling@gmail.com
छन्दोग के अढाई परवल होयछ
जवाब देंहटाएंअपनेसँ आग्रह करैत छी जे एकबेर ब्राह्मण उत्पत्ति दर्पण पढ़ि लिअ, जाहिमे पूरी जानकारी देल गेल अछि।
जवाब देंहटाएंजय श्री जानकी माई के जय 🙏🚩🚩🙏
जय श्री राधे राधे जी 🙏🙏🚩🚩