Sanjh diya sanjh diya lyrics
सांझ दियऽ सांझ दियऽ
प्रेम के सुन्दरिया हे
सांझ बीतल जाइए
घरसँ बहार भेली सुन्दर सोहागिन
लेसि लेल चौमुख दीप हे
सांझ बीतल जाइए
पहिल सांझ दियऽ कालीक आगू
रहती सभ दिन सहाय हे
सांझ बीतल जाइए
दोसर सांझ दियऽ कोबर घर हे
वर कन्याक बढ़त अहिबात हे
सांझ बीतल जाइए
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